नई दिल्ली। विश्व हिन्दू परिषद (VHP) केंद्र सरकार द्वारा सुप्रीम कोर्ट (Supreme Court) में याचिका दायर करके अयोध्या के विवादित स्थल के आसपास की अधिग्रहीत गैर-विवादित 67 एकड़ जमीन मूल मालिकों को लौटाने की मांग करने का आज स्वागत किया और उम्मीद जतायी कि अदालत इसका जल्द निपटारा करेगी।
विहिप के अंतरराष्ट्रीय कायार्ध्यक्ष आलोक कुमार ने यहां एक बयान में कहा कि विहिप उच्चतम न्यायालय में केन्द्र सरकार द्वारा अयोध्या में 42 एकड़ भूमि को राम जन्म भूमि न्यास को वापस करने के आवेदन का स्वागत करती है। न्यास ने इस भूमि को मंदिर के निर्माण के उद्देश्य से लिया था। केन्द्र सरकार ने 1993 में 67.73 एकड़ भूमि का अधिग्रहण किया था जिसमें राम जन्म भूमि न्यास की ज़मीन भी शामिल थी।
आलोक कुमार ने कहा कि मुकदमे में केवल ०.313 एकड़ भूमि ही विवादित है जिस पर विवादित ढांचा खड़ा था। शेष समस्त भूमि पर कोई विवाद नहीं है। उच्चतम न्यायालय ने मोहम्मद इस्माइल के मामले में व्यवस्था दी है कि गैर विवादित भूमि उसके मालिकों को वापस की जानी चाहिए। उन्होंने कहा कि विहिप को आशा है कि उच्चतम न्यायालय केन्द्र सरकार के आवेदन पर जल्द से जल्द फैसला देगा।