नयी दिल्ली. कोरोना वायरस (कोविड-19) महामारी से उपजी आपात स्थिति के मद्देनजर सांसदों के वेतन के साथ उनके भत्तों में भी कटौती की गयी है.
लोकसभा और राज्यसभा सचिवालयों ने इस संबंध में अलग-अलग अधिसूचनायें जारी की हैं. इनमें सभी सांसदों का निर्वाचन क्षेत्र भत्ता 70 हजार रुपये मासिक से घटाकर 49 हजार रुपये मासिक कर दिया गया है. यह व्यवस्था 01 अप्रैल 2020 से 31 मार्च 2021 तक के लिए की गयी है. सांसदों को मिलने वाले कार्यालय व्यय भत्ते के तहत लेखन सामग्री और डाक व्यय खर्च के लिए मिलने वाली राशि भी 20 हजार रुपये प्रति माह से घटाकर 14 हजार रुपये प्रति माह कर दी गयी है. अन्य भत्तों में फिलहाल कोई बदलाव नहीं किया गया है.
राष्ट्रपति रामनाथ कोविंद ने मंगलवार को ही सांसदों के वेतन में एक साल के लिए 30 फीसदी कटौती संबंधी अध्यादेश को मंजूरी प्रदान की थी. उल्लेखनीय है कि इस अध्यादेश के प्रारूप को सोमवार को केंद्रीय मंत्रिमंडल की स्वीकृति मिली थी.
कोविड-19 से निपटने के लिए अतिरिक्त धन राशि जुटाने के प्रयास के तहत सांसदों के वेतन एवं भत्तों में कटौती की गयी है. राष्ट्रपति, उपराष्ट्रपति और राज्यपालों ने भी स्वेच्छा से अपने वेतन में 30 फीसदी की कटौती की है. साथ ही सांसदों को उनके क्षेत्र में विकास कार्य के लिए मिलने वाली सांसद निधि पर भी दो साल के लिए रोक लगा दी गयी है. यह पैसा देश के कंसोलिडेटिड फंड में जमा किया जायेगा.