- रूहानी का यह दौरा दोनों देशों के लिए काफी महत्वपूर्ण
- प्राकृतिक और मानव संसाधनों के दोहन के लिए पश्चिमी देशों पर प्रहार
- मुस्लिमों को इस्लाम के शत्रुओं के खिलाफ एकजुट रहने का संदेश
- भारत धर्म और विचार का जीता-जागता म्यूजियम
- यहां मंदिरों के साथ पूजा और शांति के दूसरे स्थानों को एक साथ देखते हैं
हैदराबाद । भारत के तीन दिन के दौरे पर ईरानी राष्ट्रपति हसन रूहानी कल हैदराबाद पहुंचे। उन्होंने विभिन्न वर्गों के धार्मिक विद्वानों, शिक्षाविदों व दूसरे विशिष्ट लोगों की एक बैठक को संबोधित करते हुए अविकसित देशों में प्राकृतिक और मानव संसाधनों के दोहन के लिए पश्चिमी देशों पर प्रहार करते हुए मुस्लिमों को सांप्रदायिक मतभेदों से ऊपर उठकर इस्लाम के शत्रुओं के खिलाफ एकजुट रहने का संदेश दिया ।
इसके साथ ही उन्होंने कहा, भारत धर्म और विचार और अवसरों के विविध स्कूलों का जीता-जागता म्यूजियम है । हम यहां मंदिरों के साथ पूजा और शांति के दूसरे स्थानों को एक साथ देखते हैं । वहीं उन्होंने जीवन के सभी क्षेत्रों में भारत और ईरान के लोगों के बीच लंबी उम्र के संबंधों पर जोर देकर निकटतम संबंधों की मांग भी की।
गौरतलब है कि ईरानी राष्ट्रपति रूहानी का यह दौरा दोनों देशों के लिए काफी महत्वपूर्ण माना जा रहा है । सूत्रों की मानें तो रूहानी के इस दौरे पर रणनीतिक रूप से महत्वपूर्ण चाबहार बंदरगाह की चाबी भारत को सौंप सकते हैं ।
तेलंगाना, आन्ध्र प्रदेश, कर्नाटक और तमिलनाडु में मुस्लिम धर्मगुरुओं के साथ मीटिंग में रूहानी ने मुस्लिम समाज को उनके उन दुश्मनों के खिलाफ आगाह किया । जो इस्लाम को हिंसा और आतंकवाद के धर्म के रूप में पेश कर रहे हैं । उन्होंने कहा कि इन दुश्मनों से मुसलमानों को खासा सर्तक् रहने की जरूरत है।
रूहानी को ऐतिहासिक मक्का मस्जिद में नमाज अता कर समूह को संबोधित करेंगे। रूहानी ऐसे पहले राष्ट्र प्रमुख हैं जो 17वीं सदी में बनी इस मस्जिद में सभा को संबोधित करेंगे । यह भारत की सबसे बड़ी मस्जिदों में से एक है. उनके सलारजंग संग्रहालय के दौरा करने का भी कार्यक्रम है । वह कुतुब शाही मकबरा देखने भी जा सकते हैं. यह कुतुब शाही शासकों का मकबरा है, जो ईरानी मूल के थे । तेलंगाना में दो दिन रुकने के बाद रूहानी नई दिल्ली के लिए रवाना होंगे, जहां वह प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी के साथ द्विपक्षीय वार्ता करेंगे । वह राष्ट्रपति रामनाथ कोविंद से शनिवार को मुलाकात करेंगे ।