मुंबई। मुंबई की विशेष सीबीआई अदालत ने जागरण ग्रुप के अखबार मिड-डे के पत्रकार ज्योतिर्मय डे की हत्या मामले में बुधवार को फैसला सुनाते हुए अंडरवर्ल्ड डॉन छोटा राजन को दोषी करार दिया वहीं मामले में आरोपी पत्रकार जिगना वोरा को बरी कर दिया है।
कोर्ट ने इसके साथ ही अदालत ने इस हत्याकांड में छोटा राजन समेत 7 दोषियों को उम्रकैद की सजा सुनाई है। जिगना वोरा और कार्लसन को सबूतों के अभाव में बरी किया गया है। जिगना वोरा पर आरोप था कि उसने छोटा राजन को जेडे के खिलाफ भड़काया था कि वो दाऊद से मिल गए है। वहीं मामले में आरोपी शूटर सतीश कालिया को आर्म्स एक्ट के अलावा अन्य कई धाराओं में दोषी ठहराया गया है।
दोषी ठहराए जाने के बाद सजा पर बहस हुई जिसमें जे डे की तरफ से पैरवी कर रहे वकीलों ने कहा कि यह लोकतंत्र के चौथे स्तंभ पर हमला है और ऐसे में दोषियों को कड़ी से कड़ी सजा दी जानी चाहिए। वहीं बचाव पक्ष के वकीलों ने कहा कि यह रेयरेस्ट ऑफ रेयर केस नहीं है ऐसे में मैक्सिमम पनिशमेंट नहीं दी जा सकती।
बता दें कि जे डे की 11 जून, 2011 को मुंबई के पोवई इलाके में गोली मारकर हत्या कर दी गई थी। इस मामले में 11 आरोपित थे। जे डे की बहन लीना डे ने मंगलवार को कहा, “एक भी आरोपित बरी नहीं होना चाहिए। सभी को फांसी की सजा होनी चाहिए।” उन्होंने तल्ख लहजे में सवाल किया, “ऐसा क्यों है कि हम भुगत रहे हैं और वे (आरोपित) स्वतंत्र हैं और मजे कर रहे हैं।”
उन्होंने अंदेशा जताया कि सभी आरोपित पावरफुल लोग हैं जिनके काफी संपर्क हैं। संभव है कि वे सभी बरी हो जाएं। लीना अभी भी अपने भाई की मौत के सदमे से उबर नहीं पाई हैं। उनकी मां का भी पिछले साल निधन हो गया था।