नयी दिल्ली. कोरोना महामारी के संबंध में सोशल मीडिया पर फर्जी खबरोंं और संदेशों के वायरल होने को गंभीरता से लेते हुए केन्द्रीय गृह मंत्रालय ने कहा है कि यह दंडनीय अपराध है और दोषियों के खिलाफ कानून के अनुसार कार्रवाई की जायेगी.
गृह मंत्रालय ने अपने साइबर सुरक्षा विभाग की ओर से जारी एक ट्विट में कहा है कि कोरोना महामारी के संबंध में व्हाट्सएप, ट्विटर, टिक टॉक और सोशल मीडिया के अन्य प्लेटफार्म पर फर्जी, अपुष्ट और भ्रामक संदेश वायरल किये जा रहे हैं. हमें सावधान रहना है और इन पर विश्वास नहीं करना है तथा इन का प्रसार रोकना है.
मंत्रालय ने कहा है कि फर्जी संदेश या समाचारों का प्रसार करने वाले व्यक्ति को कानून के अनुसार दंडित किया जा सकता है. यदि आप को किसी भी संदेश की प्रमाणिकता को लेकर संदेह है तो पहले उसकी प्रमाणिकता की पुष्टि करें.
इन नम्बर्स पर लगायें सत्यता का पता
वायरल संदेश की सत्यता का पता लगाने के लिए सरकार के पत्र सूचना कार्यालय के ट्विटर हैंडल ‘PIBfACTCHECK या व्हाटसएप नम्बर 91 8799711259 पर संपर्क किया जा सकता है. मंत्रालय ने यह भी कहा है कि यदि किसी व्यक्ति को किसी ऐसे संदेश या फर्जी खबर का पता चलता है जिससे सांप्रदायिक हिंसा फैल सकती है तो इसकी जानकारी पुलिस को दी जानी चाहिए.