लखनऊ। उत्तर प्रदेश के जनपद बुलंदशहर में हुई हिंसा के दौरान इंस्पेक्टर सुबोध कुमार समेत एक युवक सुमित चौधरी की दर्दनाक मौत के मामले में काफी हद तक अब इस बात को बल मिलता नजर आ रहा है कि इसके पीछे बेहद ही बड़ी और गहरी साजिश थी। क्योंकि जहां मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ समेत प्रदेश पुलिस के मुखिया ओ पी सिंह ने माना है कि इसके पीछे गहरी साजिश है तो वहीं आज इस हिंसा के मुख्य आरोपी बजरंग दल का सदस्य योगेश राज पहली बार सामने आया है और खुद को बेकसूर बताया है।
गौरतलब है कि योगेश राज सोशल मीडिया में जारी वीडियो में कहा है कि उस दिन दो घटनाएं घटित हुए थी एक स्याना में गौकशी की घटना हुई थी। जिसकी सूचना पाकर मैं थाने पहुंचा था और मामले की शिकायत दर्ज करा रहे था। उसी वक्त मुझे पता चला कि कुछ लोगों ने पुलिस पर हमला बोल दिया है। । योगेश राज का कहना है कि जब पुलिस हमारी मांग पूर्ण कर केस लिख रही थी तो बजरंग दल कोई आंदोलन क्यों करता। योगेश राज ने कहा कि मैं दूसरी घटना के उक्त स्थल में मौजूद नहीं था। मेरा दूसरी घटनाओं से कोई लेना देना नहीं है। मुझे ईश्वर न्याय दिलाएंगे मुझे पूर्ण विश्वास है।
उसने अपनी सफाई में कहा कि पुलिस मुझे इस प्रकार पेश कर रही है जैसे मेरा कोई बहुत बड़ा आपराधिक इतिहास हो। उसने कहा कि उस दिन दो घटनाएं हुई थीं। एक पशु कटान जिसकी सूचना मिलते ही मैं मौके पर पहुंचा। उसने बताया कि मौके पर प्रशासनिक लोग भी पहुंचे थे और मामले को शांत कराकर हम लोग स्याना थाने में रिपोर्ट लिखाने पहुंचे। थाने में बैठे जानकारी मिली कि घटनास्थल(जहां पशु अवशेष मिले) पर स्थानीय लोगों ने पथराव कर दिया है और वहां फायरिंग हुई है जिसमें एक युवक और पुलिसवाले को गोली लगी है।
इसके साथ बुलंदशहर हिंसा में चौंकाने वाला एक बेहद ही अहम तथ्य सामने आया है। दरअसल इंस्पेक्टर सुबोध और सुमित को एक ही बोर के हथियार से गोली मारी गई, पोस्टर्माटम रिपोर्ट से इस बात का खुलासा हुआ हालांकि फिलहाल अधिकारी इसकी पुष्टि नहीं कर रहे हैं। दरअसल, सुमित के पोस्टमार्टम में बरामद गोली भी 0.32 बोर की बताई गई है। वहीं इंस्पेक्टर स्याना सुबोध सिंह को भी 0.32 बोर की गोली सिर में मारी गई। ऐसे में माना जा रहा है कि दोनों को एक ही हथियार से गोली मारी गई। सुमित के शरीर से बरामद गोली को अब स्याना पुलिस फोरेंसिक जांच के लिए गाजियाबाद फोरेंसिक लैब भेजेगी।