नई दिल्ली। ऑनर किलींग मामले में उच्चतम न्यायालय ने खाप पंचायतों पर एक बार फिर बेहद सख्त रुख अपनाते हुए कहा कि अगर दो बालिग शादी करने का फैसला करते हैं, तो उसमें कोई भी दखल नहीं दे सकता।
गौरतलब है कि यह मुख्य न्यायाधीश दीपक मिश्रा की अध्यक्षता वाली पीठ ने गैर-सरकारी संगठन शक्ति वाहिनी की याचिका की सुनवाई के दौरान खाप की पैरवी कर रहे वकील से बेहद सख्त लहजे में कहा, कोई शादी वैध है या अवैध, यह फैसला बस अदालत ही कर सकती है, आप इससे दूर रहें।
इस दौरान न्यायालय ने केंद्र सरकार और याचिकाकर्ताओं से ऐसे उपाय बताने को कहा जिससे ऐसे विवाहित जोड़ों को सुरक्षा प्रदान की जा सके। शीर्ष अदालत ने कहा कि उन्हें सुरक्षा देना पुलिस की जिम्मेदारी है। इस मामले की अगली सुनवाई 16 फरवरी को होगी।
इससे पहले सुनवाई के दौरान हाल ही में दिल्ली में प्रेम विवाह के कारण एक 23 वर्षीय हिन्दू युवक की हत्या का मामला भी उठा, लेकिन न्यायालय ने कहा कि वह इस मामले में फिलहाल कुछ नहीं बोलेगा ,क्योंकि उसके पास यह मामला नहीं है।
Disha News India Hindi News Portal