फिरोजाबाद। जनपद में डेंगू और वायरल से हाहाकार ही मचा हुआ है वहीं इस मौके का भरपूर फायदा उठाने में कुछ लोग कतई नहीं चूक रहे हैं। जिसकी बानगी है कि जहां एक तरफ यहां पर नारियल पानी और कीवी की कीमतें बढ़ गई वहीं बकरी के दूध की कीमतें भी आसमान को छू रहीं हैं। बकरी का दूध 1500 रुपये लीटर तक बिक रहा है। वहीं नारियल पानी चालीस से पचास रुपये और एक कीवी 30 से 40 रुपये तक बेची जा रही है। इसका प्रमुख कारण चिकित्सकों द्वारा प्लेटलेट्स बढ़ाने के लिए नारियल पानी, कीवी और बकरी का दूध का सेवन करने की सलाह देना है। बकरी के दूध के लिए लोग दूर दराज तक जा रहे हैं। हालांकि डेंगू से पहले बकरी का दूध महज 50 रुपये लीटर तक आसानी से मिल जाता था।
कोरोना के बाद डेंगू-वायरल के प्रकोप से सुहागनगरी में त्राहि-त्राहि मची हुई है। प्रतिदिन मौत का आंकड़ा बढ़ता जा रहा है। ऐसे में लोग चिकित्सकों से सलाह लेकर स्वयं को स्वस्थ रखने की कोशिश कर रहे हैं। चिकित्सकों की सलाह पर बकरी का दूध, नारियल पानी और कीवी का खूब सेवन किया जा रहा है। यही कारण है कि इन दिनों तीनों की कीमतें आसमान छू रही हैं। इसके साथ ही डेंगू और वायरल फीवर के बीच बाजार में मच्व्छरदानी के साथ ऑडोमास की डिमांड भी तेजी के साथ बढ़ी है। आम दिनों में सौ रुपये से लेकर 150 रुपये में मिलने वाली मच्छरदानी के दाम इन दिनों दौ सौ रुपये से लेकर 250 रुपये तक है। वहीं ऑडोमास की बिक्री में तेजी से इजाफा होने से दुकानदार डिमांड पूरी नहीं कर पा रहे हैं।
ठेल लगाकर सब्जी और फेरी लगाकर बच्चों के कपड़े बेचकर परिवार का भरण पोषण करने वाले लोगों ने डेंगू और वायरल फीवर के बीच अपना कारोबार बदल दिया है। रामनगर निवासी राजेश कुमार अभी तक फेरी लगाकर बच्चों के कपड़े बेचा करते थे लेकिन अब ठेल लगाकर नारियल पानी बेचते नजर आ रहे हैं। राजेश का कहना है कि डेंगू और वायरल फीवर के बीच दुकानदारी कम होने से परिवार के भरण पोषण में दिक्कत आ रही थी। वहीं अब नारियल की डिमांड अधिक होने से प्रतिदिन पांच सौ से छह सौ रुपये की कमाई हो जाती है।
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