नई दिल्ली। दिल्ली हाई कोर्ट ने पालतू पशुओं की दुकानों के लिए नियम निर्धारित किये जाने के लिए केन्द्र की सरकार से जवाब तलब करते हुए समय सीमा निर्घारित कर दी है। जिसके तहत अब दिल्ली हाई कोर्ट ने केन्द्र सरकार को पालतू जानवरों की दुकानों के विनियमन के वास्ते नियमों की अधिसूचना जारी करने के लिए दो हफ्ते का समय दिया है और चेतावनी दी है कि ऐसा नहीं करने पर संबंधित अधिकारियों के विरुद्ध कड़ी कार्रवाई की जा सकती है।
गौरतलब है कि मुख्य न्यायाधीश राजेंद्र मेनन और न्यायमूर्ति वी के राव की पीठ ने केंद्र सरकार द्वारा इस संदर्भ में और दो हफ्तों का समय मांगने पर यह आदेश जारी किया। अदालत ने कहा, ‘‘प्रतिवादी एक (केंद्र) द्वारा मांगा गया दो हफ्तों का समय मंजूर किया जाता है बशर्ते नियम अगली सुनवाई की तारीख 17 सितंबर तक अधिसूचित किये जाएं। अन्यथा हम संबंधित अधिकारियों के विरुद्ध कड़ी कार्रवाई करने पर विचार करेंगे। ’’
बताया जाता है कि दरअसल अदालत मानवाधिकार कार्यकर्ता गौरी मुलेखी की जनहित याचिका पर सुनवाई कर रही है। याचिकाकर्ता ने पालतू जानवरों की दुकानों के विनियमन के लिए पशु क्रूरता रोकथाम अधिनियम के तहत नियम बनाने की मांग की थी। गौरी ने आरोप लगाया है कि इन दुकानों में जानवरों के साथ बड़ी क्रूरता की जाती है। ज्ञात हो कि उच्च न्यायालय ने पहले केंद्र सरकार से यह भी कहा था कि वह इन नियमों को अंतिम रुप दिये जाने के लिए अनिश्चित समय तक इंतजार नहीं कर सकता।
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