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मूडीज ने ICICI, HDFC और SBI समेत 9 बैंकों की रेटिंग सुधारी, निगेटिव की जगह स्टेबल किया आउटलुक

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नई दिल्ली. बल रेटिंग एजेंसी मूडीज ने देश के नौ बैंकों का रेटिंग आउटलुक निगेटिव से बढ़ा कर स्टेबल कर दिया है. ये बैंक हैं एक्सिस बैंक, बैंक ऑफ बड़ौदा, केनरा बैंक, एचडीएफसी बैंक, आईसीआईआईसीआई बैंक, पंजाब नेशनल बैंक, एक्सपोर्ट-इम्पोर्ट बैंक, भारतीय स्टेट बैंक और यूनियन बैंक ऑफ इंडिया. मूडीज ने कल ही भारत की सॉवरेन क्रेडिट रेटिंग को भी निगेटिव से स्टेबल कर दिया था.

रेटिंग एजेंसी का कहना है कि देश के फाइनेंशियल सेक्टर की बेहतरी और इकोनॉमी में उम्मीद से बेहतर रिकवरी की वजह से रेटिंग बढ़ाई गई है. जिन अन्य वित्तीय कंपनियों की रेटिंग निगेटिव से स्टेबल की गई है उनमें हीरो फिनकॉर्प, हाउसिंग एंड अर्बन डेवलमेंट कॉरपोरेशन, इंडियन रेलवे फाइनेंस कॉरपोरेशन लिमिटेड, इंडियन रिन्यूबल एनर्जी डेवलपमेंट एजेंसी लिमिटेड, पावर फाइनेंस कॉरपोरेशन लिमिटेड और आरईसी लिमिटेड शामिल हैं.

मूडीज ने एक्सिस बैंक, एचडीएफसी बैंक, आईसीआईसीआई बैंक और एसबीआई की लॉन्ग टर्म लोकल और फॉरेन करंट डिपोजिट रेटिंग Baa3 कर दी है. इन बैंकों की रेटिंग को निगेटिव से स्टेबल करने का मतलब यह है कि कोविड-19 की वजह से भले ही आर्थिक चुनौतियां आई हों लेकिन इनकी एसेट क्वालिटी में मामूली गिरावट ही आई है. हालांकि पूंजी में सुधार हुआ है.

कल मूडीज ने भारत का सॉवरेन क्रेडिट रेटिंग आउटलुक बढ़ा कर निगेटिव से स्टेबलकर दिया था. मूडीज ने देश के फाइनेंशियल सेक्टर में सुधार और इकोनॉमी के सभी सेक्टरों में उम्मीद से ज्यादा तेजी से रिकवरी की वजह से रेटिंग में इजाफा किया है. 5 अक्टूबर की अपनी रिपोर्ट में मूडीज ने कहा है कि सॉवरेन रेटिंग को निगेटिव से स्टेबल इसलिए किया गया है क्योंकि फाइनेंशियल सिस्टम और रियल इकोनॉमी के बीच निगेटिव फीडबैक का डाउनसाइडिंग रिस्क घट रहा है.

भारत सरकार के आला अधिकारियों की ओर से सॉवरेन रेटिंग को अपग्रेड करने की मांग के चंद दिनों बाद ही मूडीज ने इसमें इजाफा कर दिया है. हालांकि एक और ग्लोबल रेटिंग एजेंसी S&P Global Ratings ने मई की रिपोर्ट में कहा था कि वह भारत की सॉवरेन रेटिंग में अगले दो साल तक किसी बदलाव की गुंजाइश नहीं देखती.

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