नई दिल्ली। पूर्व केन्द्रीय मंत्री अरूण शौरी ने देश के मौजूदा हालातों को इंदिरा गांधी द्वारा लगाई गई इमरजेंसी से गंभीर बताते हुए कहा कि अगर विपक्ष एकजुट होकर भाजपा का मुकाबला करे तो 2019 में मोदी के विजय रथ को रोका जा सकता है।
गौरतलब है कि शौरी मुंबई में टाटा लिटरेचर फेस्टिवल में ‘न्यायिक प्रणाली के भीतर खतरा’ विषय पर आयोजित सत्र को संबोधित कर रहे थे। उन्होंने कहा, “1975 में बेहतर और निश्चित विपक्ष था। लेकिन आज विपक्ष बिखरा हुआ है। मैं कह सकता हूं कि इंदिरा और नरेंद्र मोदी के बीच अंतर यह है कि इंदिरा को अपने किए का पछतावा था।”
इसके साथ ही शौरी ने कहा “आज कोई पश्चाताप नहीं है। इंदिरा के मामले में मुझे लगता है कि हालांकि उन्होंने करीब 1,75,000 लोगों को जेल में डाला था, लेकिन इस तथ्य के बावजूद उन्हें एक सीमा का भान था कि इससे आगे नहीं जाना है। आज सीमा को लेकर कोई सोच या समझ नहीं है।”
उन्होंने कहा कि आपातकाल 19 माह में खत्म हो गया था, लेकिन आज तो संस्थानों को कमजोर करने की कोशिश लगातार जारी है। इसलिए मुझे लगता है कि आज की स्थिति 1975-77 के हालात से भी ज्यादा गंभीर है।”
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