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प्रयागराज में पुलिस अभिरक्षा में अतीक और अशरफ की तीन नौजवानों ने की बड़े ही दुस्साहसिक ढंग से हत्या

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बेटे असद की कब्र की मिट्टी अभी रही नम और हुए पिता अतीक और चचा अशरफ भी बेदम

रवि प्रकाश श्रीवास्तव, लखनऊ! अभी बेटे असद की कब्र की मिट्टी की नमी कुछ कम भी हो नही पाई थी कि पिता अतीक अहमद  और चचा अशरफ अहमद  की पुलिस की कस्टडी में अस्पताल से लाते वक्त तीन नौजवान हमलावरों ने पत्रकार बनकर अचानक ताबड़तोड़ फायरिंग कर बड़े ही दुस्साहसिक ढंग से हत्या कर दी। अचानक हुई इस हत्या से जहां शासन और प्रशासन में हड़कम्प मच गया है वहीं इस घटना से बेहद खफा मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ ने आनन फानन में हाई लेवल मीटिंग बंलाई है। जिसमें तमाम पुलिस और प्रशासन के आला अफसरान और सरकार के तमाम मंत्री भी मौजूद बताये जाते हैं।

अतीक के बेटे असद के इन्काउन्टर को लेकर पहले से योगी सरकार पर उंगली उठाने वाले तमाम विरोधियों को इस घटना के बाद तो जैसे संजीवनी सी मिल गई है तो वहीं सरकार के लिए न सिर्फ जवाब देना मुश्किल हो गया है बल्कि एक बड़ा झटका भी लगा है। हालांकि तीनों हत्यारों ने मौके पर ही घटना को अंजाम देने के बाद समर्पण कर दिया है। लेकिन हत्या क्यों और किस लि ए की गई अभी ज्ञात नही हो सका है।

गौरतलब है कि जिस तरह से आज इस घटना को अंजाम दिया गया है उससे प्रदेश की कानून व्यवस्था पर उंगली उठना लाजमी है। क्योंकि मात्र महीने भर के अंदर ही प्रयागराज में जहां उमेशपाल हत्याकांड हो गया तो आज हद है कि पुलिस के लाव लश्कर के बीच अतीक और अशरफ की हत्या हो जाना। फिलहाल मामला कछ अभी ज्ञात नही हुआ है कि तीनों हत्यारों का इस हत्या के पीछे मकसद क्या था। लेकिन जल्द ही सामने तो आ ही जायेगा। लेकिन इतना तो साफ हो गया कि इस मामले में पुलिस की भूमिका न सिर्फ पूरी तरह से लापरवाही वाली रही बल्कि काफी हद तक संदेहास्पद भी नजर आई।

फिलहाल अगर जानकारों की मानें तो इस हत्या के पीछे या तो बहुत ही गहरी साजिश हो सकती है जिसके तहत एक तीर से कई निशाने साधे जायेंगे। या फिर इन तीनों हत्यारों की कोई गहरी निजी दुश्मनी हो सकती है। या फिर इनका इस्तेमाल योगी सरकार की बढ़ती लोकप्रियता पर बदनुमा धब्बा लगाने के लिए किया गया है। ताकि किसी तरह से योगी सरकार को बैकफुट पर लाया जा सके।

हालांकि पकड़े गए तीनों हमलावरों के नाम उजागर हो रहे हैं लेकिन अभी पूरी तरह से पुष्टि नही हो सकी है कि उनके असल नाम क्या हैं संभावना जताई जा रही है कि इसकी आड़ में प्रदेश की शांति को भंग करने का भी मकसद हो सकता है। लेकिन उनके अंदाज से साफ जाहिर है कि वो न सिर्फ शातिर बल्कि पेशेवर भी हैं।  फिलहाल जिले में ही नही बल्कि पूरे प्रदेश में धारा 144 लागू कर दी गई है। साथ ही पूरे यूपी में एलर्ट भी जारी कर दिया गया है। प्रयागराज में माफिया अतीक अहमद और उसके भाई अशरफ की हत्या के बाद पूरे प्रदेश में हाई अलर्ट घोषित कर दिया गया है। इसके अलावा प्रमुख सचिव गृह संजय प्रसाद को प्रयागराज भेजा गया है। अतीक-अशरफ की हत्या को लेकर 17 पुलिसकर्मी सस्पेंड कर दिया गया है।

ज्ञात हो कि आज प्रयागराज में शनिवार की देर रात माफिया डॉन अतीक अहमद और उसके भाई अतीक अशरफ गोलीबारी हुए है। इस फायरिंग में दोनों भाईयों की मौत हो गई है। सूत्रों के मुताबिकस प्रयागराज में हुई घटना के बाद प्रदेश पुलिस को हाई अलर्ट पर रखा गया है। खासकर प्रयागराज में बड़ी तादाद में अतिरिक्त पुलिस बल की तैनाती की जा रही है। पूरे जिले में धारा-144 लागू कर दी गयी है। घटनास्थल को छावनी में तब्दील कर दिया गया है। प्रयागराज पुलिस के अलावा एसटीएफ भी घटनास्थल से सुबूत बटोर रहे हैं। मौके पर रैपिड एक्शन फोर्स और पीएसी बल की तैनाती भी की गई है। डीजीपी आरके विश्वकर्मा और स्पेशल डीजी कानून-व्यवस्था एवं अपराध प्रशांत कुमार पूरे घटनाक्रम की गहनता से मॉनीटरिंग कर रहे हैं।

प्रयागराज में माफिया अतीक अहमद और उसके भाई अशरफ की हत्या के बाद पूरे प्रदेश में हाई अलर्ट घोषित कर दिया गया है। इसके अलावा प्रमुख सचिव गृह संजय प्रसाद को प्रयागराज भेजा गया है।

प्रयागराज में धारा 144 लागू- अतीक और अशरफ की हत्या के बाद प्रयागराज में हालात देखते हुए धारा 144 लागू कर दी गई है। इसी के साथ सीएम योगी ने जांच टीम का गठन किया है। तीन सदस्यीय न्यायिक आयोग मामले की जांच करेगा। 

सीएम योगी ने मुख्यमंत्री आवास में बुलाई उच्चस्तरीय बैठक- अतीक और अशरफ की सरेआम हत्या को लेकर सीएम आवास पर हाई लेवल मीटिंग बुलाई गई है। इसमें यूपी के डीजीपी आरके विश्वकर्मा, स्पेशल DG क़ानून व्यस्था प्रशांत कुमार, प्रमुख सचिव गृह संजय प्रसाद एवं अन्य अफ़सर मौजूद हैं।

प्रयागराज में हाई-अलर्ट जारी- अतीक-अशरफ की हत्या पर यूपी पुलिस महकमा अलर्ट हो गया है। बताया गया है कि इस घटना के बाद प्रयागराज में हाई-अलर्ट घोषित कर दिया गया है। पुलिस ने एहतियातन सुरक्षा व्यवस्था कड़ी कर दी है। 

अतीक के हत्यारों के नाम के खुलासे हुए- अतीक और अशरफ को गोली मारने वालों की पहचान उजागर हो गई है। बताया गया है कि इस घटना को अंजाम देने वालों के नाम लवलेश तिवारी, सनी और अरुण मौर्या हैं।

पुलिस ने तीन लोगों को गिरफ्तार करने की बात कही- पुलिस के मुताबिक, अतीक और अशरफ की हत्या के मामले में तीन लोगों को गिरफ्तार किया गया है। इस घटना पर आगे की जानकारी जल्द ही जारी की जाने की बात भी कही गई है। 

जानकारी के मुताबिक प्रयागराज के कॉल्विन अस्पताल के पास ये हमला तब हुआ, जब पुलिस टीम अतीक और अशरफ को मेडिकल ले लिए लेकर जा रही थी. इसी दौरान तीन-चार हमलावर अचानक बीच में पहुंचे और ताबड़तोड़ फायरिंग शुरू कर दी। इस पूरे हमले को बकायदा पुलिस के सामने अंजाम दिया गया है। इस हमले में एक पुलिस कांस्टेबल भी घायल हुआ है, जिसका नाम मान सिंह है। उन्हें इलाज के लिए अस्पताल ले जाया गया है।

घटना के समय दोनों को लगी थी हथकड़ी- पुलिस सुरक्षा में अतीक अहमद और उसके भाई को मेडिकल लो जाया जा रहा था। इसी दौरान तीन गाड़ियों के काफिले में आए हमलावरों ने अतीक अहमद और उसके भाई पर गोलिया बरसा दी। हमलावरों ने गोली मारने के बाद सरेंडर कर दिया।

अतीक अहमद बाइट दे रहे थे तभी मारी गोली- घटना के समय अतीक अहमद और उसका भाई मीडिया को बाइट दे रहे थे। इसी दौरान हमलावर आते है। सीधे अतीक के सिर में पिस्टल लगा देते हैं और शूट कर देते हैं। पूरा कांड वीडियो कैमरा में भी रिकार्ड हो गया है।

मीडिया रिपोर्ट के अनुसार हमलावरों ने गोली कांड के बाद नारेबाजी की और पुलिस का कहना है कि हमलावरों को हिरासत में लिया गया है। हमला उस वक्त हुआ जब अतीक मीडिया के सवालों का जवाब देने के लिए आगे बढ़ा था. अतीक केवल इतना ही कह पाया था ‘मेन बात ये है’ कि एक हमलावर ने माफिया के सिर पर मारी गोली!

प्राप्त जानकारी के मुताबिक, माफिया अतीक और अशरफ को पुलिस मेडिकल के लिए ले गई। उसी वक्त अचानक से दो-तीन लोगों ने अतीक और उसके भाई के ऊपर गोलियां दाग दी। इस गोलीकांड में अतीक और अशरफ दोनों की ही मौत हो गई। बता दें कि माफिया को पीछे से गोली मारी गई है। करीब दस राउंड फायरिंग हुई। इस बीच सिपाही भी घायल हो गया।

वहीं इस हत्या के बाद विपक्ष और सत्ता पक्ष के बीच बयानों का घमासान जोर शोर से जारी है। जिसके तहत अखिलेश यादव बोले- उप्र में अपराध की पराकाष्ठा हो गयी है- अतीक और अशरफ की हत्या पर उत्तर प्रदेश की पूर्व मुख्यमंत्री अखिलेश यादव ने ट्वीट किया। उन्होंने अपने ट्वीट में लिखा कि उप्र में अपराध की पराकाष्ठा हो गयी है और अपराधियों के हौसले बुलंद है। जब पुलिस के सुरक्षा घेरे के बीच सरेआम गोलीबारी करके किसीकी हत्या की जा सकती है तो आम जनता की सुरक्षा का क्या। इससे जनता के बीच भय का वातावरण बन रहा है, ऐसा लगता है कुछ लोग जानबूझकर ऐसा वातावरण बना रहे हैं।

एनकाउंटर राज का जश्न मनाने वाले भी इस हत्या के जिम्मेदार- असदुद्दीन ओवैसी
अतीक और उनके भाई पुलिस की हिरासत में थे। उन पर हथकड़ियाँ लगी हुई थीं। जय श्री राम के नारे भी लगाए गए। दोनों की हत्या योगी के कानून व्यवस्था की नाकामी है। एनकाउंटर राज का जश्न मनाने वाले भी इस हत्या के जिम्मेदार हैं। जिस समाज में हत्यारे हीरो होते हैं, उस समाज में कोर्ट और इंसाफ के सिस्टम का क्या काम?

स्वतंत्र देव सिंह बोले-  पाप-पुण्य का हिसाब इसी जन्म में
यूपी सरकार में जल शक्ति मंत्री स्वतंत्र देव सिंह ने कहा कि पाप-पुण्य का हिसाब इसी जन्म में होता है…

यूपी सरकार अपराध पर लगाम लगाने के लिए प्रतिबद्ध
पूर्व डिप्टी सीएम दिनेश शर्मा ने कहा कि अतीक की जिस तरह से हत्या हुई है हम इसकी निंदा करते हैं। यह जांच का विषय है। उन्होंने कहा कि यूपी सरकार अपराध पर लगाम लगाने के लिए प्रतिबद्ध है। 
कांग्रेस नेता श्रीनिवास बोले उप्र पुलिस ने एक भी गोली नही चलाई
अतीक की हत्या पर कांग्रेस नेता श्रीनिवास ने कहा कि और उप्र पुलिस ने एक भी गोली नही चलाई..?
यह एक आसमानी फैसला- यूपी के वित्त मंत्री सुरेश खन्ना
यूपी के वित्त मंत्री सुरेश खन्ना ने कहा कि यह एक आसमानी फैसला है। उनके कई ऐसे केस हैं जिनमें गवाह भी सामने नहीं आते थे। योगी सरकार कानून व्यवस्था कायम रखने के लिए प्रतिबद्ध है।
कैलाश विजयवर्गीय का विवादित बयान
भाजपा महासचिव कैलाश विजयवर्गीय ने ट्वीट कर कहा कि भगवान श्रीकृष्ण ने गीता में कहा है कि जब राक्षसों का संहार होता है तब पृथ्वी का भार कम होता है।
कपिल सिब्बल बोले यूपी में हुईं दो हत्याएं
कपिल सिब्बल बोले यूपी में दो हत्याएं हुई हैं। पहली अतीक अहमद और भाई अशरफ की और दूसरी कानून के शासन की।

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